Kishore Kumar Hits

Hanita Bhambri - Nazukh (Acoustic) şarkı sözleri

Sanatçı: Hanita Bhambri

albüm: Nazukh (Acoustic)


ठहरे, सहमे से थे हम
फ़िज़ूल सवालों में उलझे हुए
ख़ुशियों की दस्तक पर भी शक की नजरें
ठहरे, सहमे थे हम
जागे-सोए से थे हम
कल की ख़्वाहिश में बह गए
ख़्वाब टूटा तो इक क़दम भी थे ना चले
जागे-सोए से थे हम
नाज़ुक, बिख़रे सितम
ख़ुद से लड़ने की हिम्मत की, सुधर गए
ना जाने क़बसे थे ख़ुद के ही दुश्मन
नाज़ुक, बिख़रे ना

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