जब जब तेरे पास मैं आया, इक सुख मिला जिस मैं था भूल आया, वो वजूद मिला जब आए मौसम गम के, तुझे याद किया जब सेहमे तन्हा पन्न से, तुझे याद किया मम, दिल, संभल जा जरा फिर मोहब्बत करने चला है तू दिल, ये रुक जा जरा फिर मोहब्बत करने चला है तू ऐसा क्यूं कर हुआ जानू ना मैं जानू ना दिल, संभल जा जरा फिर मोहब्बत करने चला है तू दिल, ये रुक जा जरा फिर मोहब्बत करने चला है तू ♪ जिस राह पे, है घर तेरा अक्सर वहन से हम हूं गुजर शायद यहिन, दिल मेरे रहा तू मुझे मिल जाए क्या पता क्या है ये सिलसिला जानू ना मैं जानू ना दिल, संभल जा जरा फिर मोहब्बत करने चला है तू दिल, ये रुक जा जरा फिर मोहब्बत करने चला है तू ♪ कुछ भी नहीं, जब दरमियानी फिर क्यूं है दिल तेरे ही ख़्वाब बंटा चाहा की दे, तुझको भुला पर ये भी मुमकिन हो ना सका क्या है ये मामला जानू ना मैं जानू ना दिल, संभल जा जरा फिर मोहब्बत करने चला है तू दिल, ये रुक जा जरा फिर मोहब्बत करने चला है तू दिल, संभल जा जरा फिर मोहब्बत करने चला है तू