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Ami Mishra - Rim Jhim şarkı sözleri

Sanatçı: Ami Mishra

albüm: Rim Jhim


रिम-झिम ये सावन फ़िर बरसातें ले आया है
मौसम मोहब्बतों का ख़ुद चल के आया है
सारे शहर में सिर्फ़ हमको भिगाया है
रिम-झिम ये सावन फ़िर बरसातें ले आया है

पहली मोहब्बत है और पहली ये बारिश है
भर लो बाँहों में, आसमाँ की नवाज़िश है
कितना ख़ुश है देखो ना ये आसमाँ
है ख़ुशनसीबी मेरी सारे ज़माने में
जो हमसफ़र तूने मुझको बनाया है
रिम-झिम ये सावन फ़िर बरसातें ले आया है

राहें अब सारी जा के तुझसे मिल जाती हैं
हँसते-हँसते आँखों से बूँदें गिर जाती हैं
तू जो आया, बदली मौसम की हवा
जितनी बेचैनी में था पहले ये सफ़र मेरा
उतना सुकूँ, हाँ, मैंने तुझमें अब पाया है
रिम-झिम ये सावन फिर बरसातें ले आया है
रिम-झिम ये सावन फ़िर बरसातें ले आया है
मौसम मोहब्बतों का ख़ुद चल के आया है
सारे शहर में सिर्फ़ हमको भिगाया है
रिम-झिम ये सावन फ़िर बरसातें ले आया है

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