किस धून में था, मैं चल दिया किस धून में था, मैं चल दिया छुने आसमाँ, बेहकी हवाओं की तरह ♪ ये क्या किया, मैं खो गया ना जाने कहाँ बेहकी हवाओं की तरह ♪ धीरे-धीरे मैं पिछले दरवाज़े से लफ़्ज़ों को लिख आया काग़ज़ पे सादे से वो थी बेखबर, मैं तो मगर दूर चला आया दूर चला आया, दूर ♪ किस धून में था, मैं चल दिया छुने आसमाँ, बेहकी हवाओं की तरह ♪ रोका उसके गेहरे, बिखरे से बालों ने उलझे सवालों ने रोका था याद आके, कुछ गुज़रे सालों ने होटों पे लिए खामोक्षियाँ दूर चला आया किस धून में था, मैं चल दिया छुने आसमाँ, बेहकी हवाओं की तरह दूर चला आया दूर चला आया दूर चला आया दूर चला आया