नज़र में रहती थी मेरी लाख ख्वाहिशें बिक गई हैं कुछ, कुछ हैं बाक़ी सँभाल के रखी किसी दिल के कोने में रहेंगी कब तक ये, कोई ना जाने कैसी तेरी है दुनिया, कोई ना जाने कैसा मैं यूँ रह गया? क्यूँ रह गया? कैसी तेरी है दुनिया, कोई ना जाने ♪ दिल की जो धुन थी, कुछ खास सी वो थी शहर के शोर में दफ़्न है कहीं ढूँढता हूँ उसे मेरे घर के आँगन में रहेंगी कब तक ये, कोई ना जाने कैसी तेरी है दुनिया, कोई ना जाने कैसा मैं यूँ रह गया? क्यूँ रह गया? कैसी तेरी है दुनिया, कोई ना जाने ♪ बेख़बर क्यूँ सब इन दिल की राहों से? या ख़ौफ़ में है ये? कोई ना जाने बेख़बर क्यूँ सब इन दिल की राहों से? या ख़ौफ़ में है ये? कोई ना जाने ♪ दिल की जो धुन थी, कुछ ख़ास सी वो थी शहर के शोर में दफ़्न है कहीं ढूँढता हूँ उसे मेरे घर के आँगन में रहेंगी कब तक ये, कोई ना जाने कैसी तेरी है दुनिया, कोई ना जाने कैसा मैं यूँ रह गया? क्यूँ रह गया? कैसी तेरी है दुनिया, कोई ना जाने