किसी का कुर्ता किसी का पजामा फैला है कैसा हंगामा गरीब कन्हैया अमीर सुदामा जमाने में किसी का खेत किसी की बाड़ हवा में मिट्टी धंसे पहाड़ शेर चुप कुत्ते रहे दहाड़ जमाने में भाड़ में जाए दुनिया फिर भी हंसते रहो भाड़ में जाए दुनिया फिर भी हंसते रहो जोकर बन जाओ तो ही जी पाओगे भाड़ में जाए दुनिया फिर भी हंसते रहो जोकर बन जाओ तो ही जी पाओगे यह दुनिया हो गई बावली-बूझ पीछे सिर है आगे पूंछ यह दुनिया हो गई बावली-बूझ पीछे सिर है आगे पूंछ जबाँ पे प्यार है नाही मूंछ है लानत इसपे गुंडे फिर रहे बनके नेता चैन से रहने के हफ्ते लेता आटा कम है ज्यादा रेता है लानत इसपे कितनी भी फट जाए मुस्कुराते रहो हंसके सुई पकड़ोगे तो ही सी पाओगे भाड़ में जाए दुनिया फिर भी हंसते रहो जोकर बन जाओ तो ही जी पाओगे